‘जो केंद्र के कृषि कानून का समर्थन कर रहे, वे खुद मिलावटी शहद बेच रहे’, CSE की रिपोर्ट पर लोगों का रामदेव और बड़े ब्रांड्स पर निशाना
एक यूजर ने पूछा- बाबा रामदेव की पतंजली और कई नामी कंपनी मिलावटी शहद बेचते पकड़ी गई है तो इनको सजा मिलेगी या पैसे के दम पर छूट जायेंगे?"

सेंटर फॉर साइंस एंड एनवायरमेंट (CSE) की 13 बड़े ब्रांड के शहद की जांच में सामने आया है कि 10 कंपनियों के शहद शुद्धता के पैमाने पर खरे नहीं उतरते। कहा गया है कि इनमें से ज्यादातर अपने शहद में चीन से आने वाले शुगर सिरप की मिलावट करती हैं। चौंकाने वाली बात यह है कि इस खेल में डाबर, इमामी, झंडू, हितकारी और एपिस हिमालय जैसे नामी ब्रांड्स शामिल हैं। जहां इनमें से ज्यादातर कंपनियां का कहना है कि वे 100 फीसदी शुद्ध शहद बेचते हैं, वहीं पतंजलि के सीईओ बालकृष्ण ने तो इसे इंडस्ट्री को बदनाम करने की साजिश तक करार दे दिया। हालांकि, इस पर सोशल मीडिया यूजर्स ने बड़े ब्रांड्स को आड़े हाथों लिया है।
दारा भूपेंद्र सिंह नाम के एक यूजर ने ट्विटर पर लिखा, “और यह हैं ढोंगी बाबा रामदेव की करतूत। इस संघी मास्टरमाइंड के ड्रामें कभी ख़त्म नहीं होते। खुद जहर घोल रहा है शहद में।” वहीं शहबाज हैदर अली नाम के यूजर ने लिखा, “पतंजलि शहद में 80% चीनी सिरप मिला और पंतजलि का नारा स्वदेशी का है।” इस पर अमित शुक्ला ने कहा, “बाबा जी तो खुद भालू की ड्रेस पहन कर जंगल में शहद इकट्ठा करने जाते थे!”
पतंजलि शहद में 80% चीनी सिरप मिला और पंतजलि का नारा स्वदेशी का है
— Shahbaz Haider Ali (@Baaz_Falcon) December 3, 2020
पत्रकार रोहिणी सिंह ने पतंजलि को घेरते हुए लिखा, “योग व्यवसायी रामदेव, जो कृषि कानून पर केंद्र सरकार का समर्थन कर रहा है, वह मिलावटी शहद बेच रहे थे।” एक अन्य यूजर दिनेश ने कहा, “कोई व्यक्ति या व्यापारी मिलावट करता पकडा जाता है तो 6 महीने से लेकर 2 साल की जेल की सजा होती है। बाबा रामदेव की पतंजली और कई नामी कंपनी मिलावटी शहद बेचते पकडी गई है तो इनको सजा मिलेगी या पैसे के दम पर छूट जायेंगे?”
कंपनियों ने जारी की सफाई: कंपनियों ने कहा है कि उन्होंने अपने शहद में फूड सेफ्टी एंड स्टैंडर्ड अथॉरिटी (FSSAI) के नियमों और मानकों का पूरा ध्यान रखा है। डाबर के प्रवक्ता ने कहा कि हमारा शहद 100 फीसदी शुद्ध है और जर्मनी में हुए एनएमआर टेस्ट में यह पास था। हम FSSAI के 22 मानकों को पूरा करते हैं। हाल में जो रिपोर्ट सामने आई हैं, वो प्रायोजित लगती हैं। वहीं पतंजलि आयुर्वेद के मैनेजिंग डायरेक्टर आचार्य बालकृष्ण ने कहा- हम 100 फीसदी प्राकृतिक शहद बनाते हैं। यह भारत के प्राकृतिक शहद बनाने वाली इंडस्ट्री को बदनाम करने की साजिश है, ताकि प्रोसेस्ड शहद को प्रमोट किया जा सके। वहीं, झंडु ब्रांड का मालिकाना हक रखने वाली कंपनी इमामी ने कहा कि वह FSSAI के सभी मानकों का पालन करती है।
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