कांग्रेस के राज्य प्रभारी केसी वेणुगोपाल भी बेंगलुरु पहुंचे और यहां के एक प्राइवेट होटल में प्रदेश के शीर्ष नेताओं के साथ बैठक की। वहीं, पूर्व प्रधानमंत्री और जेडीएस के वरिष्ठ नेता एचडी देवगौड़ा अपने बेटे (सीएम, कुमारस्वामी) के लौटने से पहले लगातार पार्टी के नेताओं के साथ बैठकें कीं। वहीं, विधायकों का पर्चा फाड़ने वाले (ताकी उन्हें पार्टी से इस्तीफा देने से रोका जा सके) डीके शिव कुमार ने भी देवगौड़ा से मुलाकात की। वहीं, पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता सिद्धारमैया ने दावा किया कि कांग्रेस-जेडीएस सरकार के ऊपर कोई ख़तरा नहीं है। जबकि, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मलिकार्जुन खड़गे ने कहा कि उनकी बातचीत लगातार बागी विधायकों के साथ जारी है।
खड़गे ने कहा, “इस मालमे में असली तस्वीर 12 जुलाई को ऊभर कर सामने आएगी।” गौरतलब है कि उस दिन से कर्नाटक विधानसभा की कार्यवाही शुरू होगी। कांग्रेस ने इस बीच अपने सभी विधायकों को कांग्रेस विधायक दल की बैठक में मौजूद रहने के लिए सर्कुलर भी जारी किया है। इसमें कहा गया है कि यदि कोई विधायक बैठक से खुद को अलग करता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। उधर, विधायकों के इस्तीफे पर कांग्रेस नेता मलिकार्जुन खड़गे ने बीजेपी को कटघरे में खड़ा किया और लोकतंत्र को तहस-नहस करने का आरोप लगाया। खड़गे ने कहा, “भारतीय जनता पार्टी गैर बीजेपी राज्यों में अस्थिरता लाने की कोशिश कर रही है। मुझे डर है कि इस देश के लोकतंत्र के साथ क्या किया जा रहा है। बीजेपी ने बागी विधायकों को मुंबई ले जाने के लिए ‘स्पेशल फ्लाइट’ का बंदोबस्त किया। जो भी हो रहा है, वह सही नहीं है।”
वहीं, कर्नाटक में बीजेपी के नेता बीएस येदियुरप्पा ने कहा, “इस पूरे घटनाक्रम से हमारा कोई लेना-देना नहीं है।” वहीं, येदियुरप्पा और अन्य बीजेपी नेताओं ने कर्नाटक में जरूरत पड़ने पर सरकार बनाने का दावा किया है।