देश में पहली बार जीएसटी कलेक्शन का आंकड़ा 1.5 करोड़ के पार पहुंच गया है। सरकार की ओर से रविवार को जारी किए गए आंकड़ों में बताया गया कि 1 अप्रैल से 30 अप्रैल की अवधि में कुल 1.68 लाख करोड़ रुपए का जीएसटी कलेक्शन किया गया है। यदि सालाना आधार पर तुलना की जाए तो पिछले साल के मुकाबले यह करीब 20 फ़ीसदी अधिक है। इसके अलावा यदि मार्च 2022 के कलेक्शन से मासिक आधार पर तुलना की जाए तो इस माह 25 हजार करोड़ अधिक का जीएसटी कलेक्शन हुआ है।
वित्त मंत्रालय की ओर से बताया गया कि अप्रैल माह में कुल 1,67,540 करोड़ों रुपए का जीएसटी कलेक्शन हुआ है, जिसमें से सीजीएसटी ( Central Goods and Services Tax) के रूप में 33,159 करोड़ रुपए, एसजीएसटी (State Goods and Services Tax) के रूप में 41,793 करोड़ रूपए और आईजीएसटी (Integrated Goods and Services Tax) के रूप में 81,939 करोड़ रुपए प्राप्त हुए हैं। आईजीएसटी में 36,705 करोड़ रुपए का आयातित सामान पर वसूल किया गया कर भी शामिल है। इसके अलावा सेस के रूप में 10,649 करोड़ रुपए प्राप्त किए गए हैं।
समाचार एजेंसी पीटीआई की खबर के मुताबिक, वित्त मंत्रालय ने कहा कि जीएसटी के अनुपालन (Compliance) में काफी सुधार देखने को मिला है। कर प्रशासन की ओर से करदाताओं के लिए कर भरने की प्रक्रिया को आसान बनाया गया है। इसके साथ ही गलत तरीके से कर भरने वालों की डाटा एनालिटिक्स और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के जरिए पहचान कर सख्त कार्रवाई के कारण यह संभव हुआ है।
आयातित सामान पर कर वसूली में हुआ इजाफा: सरकार की ओर से जीएसटी कलेक्शन पर जानकारी दी गई कि अप्रैल में आयातित सामान पर जीएसटी कलेक्शन में करीब 30 फ़ीसदी का इज़ाफ़ा हुआ है। वहीं, इस दौरान घरेलू लेनदेन से होने वाले जीएसटी कलेक्शन में 17 फ़ीसदी की बढ़ोतरी हुई है।
जीएसटी कलेक्शन में राज्यवार 2 फीसदी से लेकर 33 फीसदी की वृद्धि देखने को मिली है। प्रमुख राज्यों में तमिलनाडु में 10 फीसदी,महाराष्ट्र में 25 फीसदी, गुजरात में 17 फीसदी, कर्नाटक में 19 फीसदी जबकि उत्तराखंड के जीएसटी कलेक्शन में 33 फीसदी की बढ़त हुई है।