विदेश मंत्री जयशंकर को अमेरिका की सांसद ने दिया जवाब- आलोचना सुनना ही नहीं चाहती भारत सरकार
जयपाल का कहना था कि मैं मानवाधिकारों की परवाह करती हूं, हजारों लोगों को बिना किसी आरोप के हिरासत में लिया गया है, संचार के साधनों पर प्रतिबंध ने आम जीवन को और भी मुश्किल बना दिया।

अमेरिका में कांग्रेस समिति के साथ अंतिम समय में बैठक रद्द करने की घोषणा पर भारतीय-अमेरिका महिला सांसद ने विदेश मंत्री एस जयशंकर को जवाब दिया है। अमेरिकी सांसद प्रमिला जयपाल ने ट्वीट कर कहा कि मीटिंग रद्द होने की सूचना वास्तव में बहुत आहत करने वाली है। जयपाल ने कहा कि भारत सरकार अपनी आलोचना सुनना ही नहीं चाहती है। वाशिंगटन पोस्ट ने प्रमिला जयपाल के हवाले से लिखा कि मौजूदा समय की गंभीरता को देखते हुए यह बातचीत होनी चाहिए थी ना कि यह कि उस मीटिंग में कौन शामिल हो रहा है।
डेमोक्रेट सांसद प्रमिला जयपाल कश्मीर पर अपने प्रस्ताव को इस सप्ताह आगे बढ़ाने वाली थीं लेकिन उनसे आग्रह किया गया था कि वह जयशंकर से मुलाकात होने तक रुक जाएं। रिपोर्ट में बताया गया है कि अब वह जनवरी में नए सिरे से अपना प्रस्ताव पेश करेंगी। मालूम हो कि प्रमिला जयपाल कश्मीर के मुद्दे पर भारत सरकार के कदम की आलोचना करती रही हैं। उन्होंने जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म किए जाने के बाद राज्य में लगाए गए प्रतिबंधों को हटाने के संबंध में एक प्रस्ताव भी पेश किया था।
चेन्नई में जन्मी जयपाल उस समय भारत में अपने परिवार से मिलने गईं थीं जब केंद्र सरकार ने जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म किए जाने की घोषणा की थी। जयपाल का कहना था कि मैं मानवाधिकारों की परवाह करती हूं, हजारों लोगों को बिना किसी आरोप के हिरासत में लिया गया है, संचार के साधनों पर प्रतिबंध ने आम जीवन को और भी मुश्किल बना दिया।
दूसरी तरफ एस. जयशंकर ने कहा कि मैं उस (कांग्रेस के) प्रस्ताव से वाकिफ हूं। मैं नहीं समझता की वह सही तरीके से जम्मू-कश्मीर की स्थिति को समझने और भारत सरकार वहां क्या कर रही हैं, उसको समझने के लिए हैं। मुझे उनसे (जयपाल) मिलने में कोई रुचि नहीं है। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि उन लोगों से मिलने में रुचि रखता हूं जो निष्पक्ष हैं और खुले रूप से चर्चा के लिए तैयार हैं ना कि उन लोगों से जो पहले ही अपनी राय बना चुके हैं।