भारत का पहला सैटेलाइट बनाने वाले यूआर राव का निधन, मोदी ने दुख जताया
उडुपी रामचंद्रन राव को भारत की अंतरिक्ष और उपग्रह क्षमताओं के निर्माण का श्रेय जाता है।

इसरो के पूर्व अध्यक्ष उडुपी रामचंद्रन राव (यू आर राव) का बेंगलुरु स्थित उनके आवास पर आज निधन हो गया। उन्होंने भारत की पहली सैटेलाइट बनाई थी।अंतरिक्ष वैज्ञानिक प्रोफेसर राव कुछ समय से बीमार चल रहे थे। राव का निधन देर रात 2:30 बजे के करीब हुआ। उन्हें हार्ट की समस्या के चलते अस्पताल में भर्ती कराया गया था। राव इसरो के पूर्व अध्यक्ष यूआर राव भी रह चुके थे। इसी साल उन्हें पदम विभूषण से भी सम्मानित किया गया था। वहीं उनकी मृत्यु पर पीएम नरेंद्र मोदी ने भी शोक प्रकट किया है। अपने ट्वीट में प्रधानमंत्री ने लिखा, “प्रोफेसर यूआर राव के निधन से आहत हूं, भारत के स्पेस प्रोग्राम के लिए उनके योगदान को हमेशा याद रखा जाएगा।”
उडुपी रामचंद्रन राव को भारत की अंतरिक्ष और उपग्रह क्षमताओं के निर्माण और देश के विकास में उनके अनुप्रयोगों का श्रेय जाता है। उन्होंने 10 से ज्यादा अंतरराष्ट्रीय अवॉर्ड और कई राष्ट्रीय अवॉर्ड भी जीते थे। 1972 में उन्होंने भारत में उपग्रह प्रौद्योगिकी की स्थापना का दायित्व संभाला था। पिछले कई सालों से राव विदेशी यूनिवर्सिटी समेत कई संस्थानों में वरिष्ठ पदों पर कार्यरत थे। राव 1984 से 1994 तक इसरो के अध्यक्ष रहे। राव के दिशानिर्देशन में ही 1975 में पहले भारतीय उपग्रह आर्यभट्ट से लेकर 20 से अधिक उपग्रहों को डिजाइन किया गया, तैयार किया गया और अंतरिक्ष में प्रक्षेपित किया गया। 2016 में राव को इंटरनेशनल एरोनॉटिकल फेडरेशन (आईएएफ) के हॉल ऑफ फेम में जगह दी गई।
Saddened by demise of renowned scientist, Professor UR Rao. His remarkable contribution to India’s space programme will never be forgotten.
— Narendra Modi (@narendramodi) July 24, 2017
राव ने प्रसारण, शिक्षा, मौसम विज्ञान, सुदूर संवेदी तंत्र और आपदा चेतावनी के क्षेत्रों में अंतरिक्ष तकनीक के इस्तेमाल को बढ़ावा दिया। साल 2013 में उन्हें वॉशिंगटन में प्रतिष्टठित सैटेलाइट हॉल ऑफ फेम में जगह दी गई थी। प्रोफ्रेसर राव ने 350 से ज्यादा पेपर्स भी प्रकाशित किए थे जिनमें साइन्स एंड टेक्नॉलिजी के कई क्षेत्रों को कवर किया। इसके अलावा राव प्रतिष्ठित एमआईटी के फैकल्टी मेंमर और डलास में यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्सस में असिस्टेंट प्रोफेसर भी रह चुके थे।
वीडियो (Source: YouTube/ RSTV)
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