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Rahul Gandhi disqualified : ‘अयोग्य सांसद’, संसद सदस्यता जाने के बाद राहुल गांधी ने बदला अपना ट्विटर बायो

Rahul Gandhi disqualified : राहुल गांधी ने अगले ही दिन प्रेस कांफ्रेस कर कहा था कि वह इस फैसले से झुकने वाले नहीं हैं।

Rahul Gandhi | Congress |
राहुल गांधी ने अपना ट्विटर बायो बदल लिया है।

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपना ट्विटर बायो बदल लिया है। उन्होंने ट्विटर बायो में खुद को “अयोग्य सांसद” लिखा है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी को 2019 में उनकी ‘मोदी सरनेम’ टिप्पणी पर मानहानि के मामले में दो साल की जेल की सजा सुनाए जाने के एक दिन बाद शुक्रवार (24 मार्च) को लोकसभा से अयोग्य घोषित कर दिया गया था।

लोकसभा से जारी हुए इस नोटिस के बाद कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, शशि थरूर, जयराम रमेश, के सी वेणुगोपाल और टीएमसी सुप्रीमो और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, भाजपा (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे और अरविंद केजरीवाल, अखिलेश यादव तमाम विपक्ष के नेताओं ने आपत्ति दर्ज कराई थी।

राहुल गांधी ने अगले ही दिन प्रेस कांफ्रेस कर कहा था कि वह इस फैसले से झुकने वाले नहीं हैं। उन्होने कहा “मुझे इससे फर्क नहीं पड़ता कि मैं संसद के अंदर हूं या बाहर, मैं संघर्ष भारत के लोगों के लिए संघर्ष करता रहुंगा”

उन्होने एक ट्वीट कर कहा “मैं भारत की आवाज़ के लिए लड़ रहा हूं। मैं हर कीमत चुकाने को तैयार हूं”

सांसदी के साथ क्या-क्या जाता है?

लोकसभा की अपनी सदस्यता खोने के साथ-साथ सांसदों को मिलने वाली कई सुविधाओं का भी नुकसान होता है। सांसदी जाने के बाद अयोग्य घोषित किए गए सांसद को वह भत्ते नहीं मिलते जिन्हें उसे अपने क्षेत्र के विकास के लिए अलोट किया जाता है। उसे उस स्थान को भी छोड़ना होता है जिसे उसे सांसद रहते दिया गया था।

सांसदों को संसद के सदस्य के रूप में अपने कर्तव्यों के संबंध में की जाने वाली किसी भी यात्रा को सुविधाजनक बनाने के लिए यात्रा भत्ता भी मिलता है। उन्हें अपने कर्तव्यों को पूरा करने के लिए की जाने वाली किसी भी यात्रा के लिए हवाई किराए का भुगतान किया जाता है। यदि वे सड़क मार्ग से यात्रा करते हैं, तो उन्हें प्रति किलोमीटर 16 रुपये के माइलेज शुल्क का भुगतान किया जाता है।

जबकि पहले सांसदों को रेल किराए का भुगतान किया जाता था यदि वे रेल द्वारा यात्रा करना चुनते हैं। अब उन्हें एक मुफ्त, गैर-हस्तांतरणीय पास दिया जाता है, जो उन्हें किसी भी समय वातानुकूलित प्रथम श्रेणी या कार्यकारी श्रेणी में किसी भी ट्रेन से यात्रा करने का अधिकार देता है। रेलगाड़ी। यह पास सांसद के कार्यालय की अवधि के लिए वैध है। यदि उन्हें किसी भी कारण से रेल पास नहीं मिला है, तब भी सांसद अपने किराए की प्रतिपूर्ति के साथ रेल द्वारा मुफ्त यात्रा के हकदार हैं। इसके अलावा भी कई ऐसे लाभ हैं जिन्हें सांसद के अयोग्य घोषित हो जाने के बाद रोक दिया जाता है। इसमें टेलीफोन चार्ज और मेडिकल सर्विसेज तक शामिल हैं।

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First published on: 26-03-2023 at 11:54 IST
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