रेप के आरोपी चिन्मयानंद के बचाव में उतरा संतों का शीर्ष संगठन, अखाड़ा परिषद ने की लड़की पर कड़े ऐक्शन की मांग
अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरी ने कहा, 'उनके (चिन्मयानंद) खिलाफ कोई ऐक्शन नहीं लिया जाएगा। अखाड़ा परिषद उनका पूरी तरह समर्थन करता है। उनके साथ अन्याय हुआ है।'

रेप और यौन उत्पीड़न के आरोपों का सामना कर रहे पूर्व भाजपा सांसद चिन्मयानंद के समर्थन में संतों का शीर्ष संगठन अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद उतर आया है। परिषद ने चिन्मयानंद को तुरंत रिहा करने की मांग करते हुए आरोप लगाने वाली लड़की के खिलाफ कड़ा ऐक्शन लेने के लिए कहा है। बता दें कि आरोप लगाने वाली लड़की और तीन लोगों पर ब्लैकमेल करने और चिन्मयानंद से जबरन 5 करोड़ रुपये की रंगदारी वसूलने की कोशिश करने का आरोप है।
सभी आरोपी फिलहाल जेल में बंद हैं। बता दें कि अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद विभिन्न अखाड़ों का शीर्ष संगठन है। इसमें देश के 13 मतों के संतों के प्रतिनिधि शामिल हैं। परिषद ने अपना फैसला हरिद्वार में हुई एक बैठक के बाद लिया। परिषद ने आरोप लगाया कि चिन्मयानंद को ‘बदनाम’ करने की कोशिश हो रही है। परिषद ने दूसरे संतों को ‘ऐसी साजिशों’ से सतर्क रहने की भी हिदायत दी।
इससे पहले, अखाड़ा परिषद की ओर से कहा गया था कि चिन्मयानंद को हरिद्वार के महानिर्वाणी अखाड़े से बाहर का रास्ता दिखाया जा सकता है। हालांकि, परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरी ने कहा, ‘उनके (चिन्मयानंद) खिलाफ कोई ऐक्शन नहीं लिया जाएगा। अखाड़ा परिषद उनका पूरी तरह समर्थन करता है। उनके साथ अन्याय हुआ है।’
बता दें कि चिन्मयानंद पर जांच का शिकंजा कसता जा रहा है। लखनऊ की फोरेंसिक साइंस लैबोरेट्री ने केंद्रीय मंत्री रह चुके चिन्मयानंद और आरोप लगाने की वाली लड़की के वॉयस सैंपल लिए हैं। इसके अलावा, रंगदारी वसूलने की कोशिश करने के आरोप में शाहजहांपुर जेल में बंद तीन आरोपियों के भी सैंपल लिए गए हैं। सभी पांच लोगों के सैंपल लखनऊ में लिए गए। इस मामले की जांच स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम कर रही है।
Hindi News के लिए हमारे साथ फेसबुक, ट्विटर, लिंक्डइन, टेलीग्राम पर जुड़ें और डाउनलोड करें Hindi News App। Online game में रुचि है तो यहां क्लिक कर सकते हैं।