भूपेंद्र यादवः पेशे से वकील, पर विरोधियों की चुनावी रणनीति ध्वस्त करने में माहिर, अमित शाह के कहे जाते हैं ‘मिस्टर भरोसेमंद’
यादव को केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह का भरोसेमंद माना जाता है। गौरतलब है कि भूपेन्द्र यादव बेहतरीन चुनावी रणनीतिकार माने जाते हैं।

हाल ही में भाजपा ने अपनी नई राष्ट्रीय टीम का ऐलान किया है। इस टीम में सामाजिक समीकरण, संगठन विस्तार को अहमियत दी गई है। साथ ही नेताओं के काम को भी अहम आधार बनाया गया है। यही वजह है कि भूपेन्द्र यादव अपने काम और संगठन की समझ के चलते अभी भी भाजपा की राष्ट्रीय टीम में बने हुए हैं। भाजपा संगठन में भूपेन्द्र यादव की अहमियत को इसी बात से समझा जा सकता है कि पार्टी ने उन्हें जो जिम्मेदारियां दी हैं, उनमें वह खरे उतरे हैं। फिर चाहे वो महाराष्ट्र विधानसभा का चुनाव हो या फिर गुजरात विधानसभा का चुनाव। दोनों ही राज्यों में भाजपा सबसे बड़ी पार्टी बनी।
अमित शाह के करीबी माने जाते हैं यादवः यादव को केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह का भरोसेमंद माना जाता है। गौरतलब है कि भूपेन्द्र यादव बेहतरीन चुनावी रणनीतिकार माने जाते हैं। इस साल की शुरुआत में भाजपा ने जेपी नड्डा को अपना नया राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया था लेकिन जेपी नड्डा के अलावा इस रेस में भूपेन्द्र यादव का नाम भी शामिल था। भूपेन्द्र यादव फिलहाल भाजपा में संगठन राष्ट्रीय महासचिव के पद पर तैनात हैं। नए संगठन में अमित शाह का प्रभाव साफ देखा जा सकता है। सूत्रों के अनुसार, जल्द ही गठित होने वाले संसदीय बोर्ड में भी भूपेन्द्र यादव को जगह देकर उनका कद बढ़ाया जा सकता है।
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में भी भूपेन्द्र यादव ने वॉर रूम की कमान संभाली थी और मीडिया मैनेजमेंट का काम भी देखा था। अभी तक 2015 का बिहार विधानसभा चुनाव ही ऐसा रहा, जहां भूपेन्द्र यादव के प्रभारी रहते हुए पार्टी को हार का मुंह देखना पड़ा था।
वकालत से भी रहा है नाताः भूपेन्द्र यादव राजस्थान के अजमेर से आते हैं। गवर्नमेंट कॉलेज अजमेर से कानून की पढ़ाई करने के बाद वह सुप्रीम कोर्ट में वकील भी रहे हैं। इसके अलावा छात्रसंघ की राजनीति में भी शामिल रहे हैं। साल 2009 में एबीवीपी के महासचिव की भूमिका में संगठन को मजबूत करने में भी भूपेन्द्र यादव की अहम भूमिका रही। फिलहाल भूपेन्द्र यादव राज्यसभा सांसद हैं।