कांशीराम के जन्मदिवस पर भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर ने बनाई नई पार्टी, इस तरह बन गए सीएए विरोधी आंदोलन का चेहरा
खास बात है कि चंद्रशेखर आजाद ने अपनी पार्टी का गठन बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के संस्थापक कांशीराम के जन्मदिन के अवसर पर किया है।

भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर आजाद ने रविवार को अपनी नई पार्टी बना ली है। चंद्रशेखर आजाद की इस पार्टी का नाम ‘आजाद समाज पार्टी’ होगा। खास बात है कि चंद्रशेखर आजाद ने अपनी पार्टी का गठन बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के संस्थापक कांशीराम के जन्मदिन के अवसर पर किया है। चंद्रशेखर आजाद का नई राजनैतिक पार्टी का गठन करना बसपा सुप्रीमो मायावती के लिए बड़ा झटका साबित हो सकता है।
दरअसल इससे मायावती के कोर वोटबैंक यानि कि दलित वोटबैंक में सेंध लगने का अनुमान है। बसपा के संस्थापक और बड़े दलित नेता गिने जाने वाले कांशीराम के जन्मदिन के अवसर पर अपनी पार्टी का गठन कर चंद्रशेखर आजाद ने इसके संकेत भी दे दिए हैं।
सीएए विरोधी आंदोलन से बटोरी खूब चर्चाः भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद सीएए विरोधी आंदोलन के दौरान खूब चर्चा में रहे। चंद्रशेखर आजाद बीते दिनों सीएए विरोधी आंदोलन के दौरान खूब चर्चा में रहे। चंद्रशेखर आजाद ने शाहीन बाग में जारी एंटी सीएए धरने प्रदर्शन को खुलकर अपना समर्थन दिया।
इसके बाद जामा मस्जिद में सीएए के विरोध में हुए धरने प्रदर्शन में भी चंद्रशेखर आजाद पुलिस इंतजाम को धता बताते हुए शामिल हुए थे। इस दौरान चंद्रशेखर आजाद के हाथ में संविधान निर्माता बाबा साहब भीमराव अंबेडकर की तस्वीर थी। एंटी सीएए विरोध प्रदर्शन के बाद ही चंद्रशेखर आजाद को राजनैतिक तौर पर खूब चर्चा मिली थी। आजाद ने देश में घूम-घूमकर कर सीएए के विरोध में माहौल बनाने की कोशिश की।
सहारनपुर जातीय हिंसा से मिली पहचानः साल 2017 में सहारनपुर में दलित-ठाकुर हिंसा के दौरान चंद्रशेखर आजाद पहली बार चर्चा में आए थे। सहारनपुर हिंसा के दौरान ही भीम आर्मी पहली बार चर्चा में आयी थी। जिसके बाद दलित राजनीति में युवाओं को एक नया विकल्प मिला था। चंद्रशेखर आजाद खुद युवा हैं और आक्रामक राजनीति के चलते दलित युवाओं में उनकी स्वीकार्यता तेजी से बढ़ी है।