दुनिया की नंबर एक युगल खिलाड़ी ने ‘क्रिकेट क्लब ऑफ इंडिया’ की मानद आजीवन सदस्यता ग्रहण करने के बाद कहा, ‘मैं सिर्फ एक प्रारूप में खेल रही हूं जो मेरे शरीर के लिए आसान है लेकिन मानसिक रूप से कड़ा है। साल में 25 हफ्तों तक शीर्ष पर रहना आसान नहीं होता।’
स्विट्जरलैंड की मार्टिना हिंगिस के साथ पहले विंबलडन और फिर अमेरिकी ओपन के रूप में लगातार दो महिला युगल ग्रैंडस्लैम खिताब जीतने वाली सानिया ने बताया कि पेशेवर तरीके से लगातार खेलना कितना मुश्किल है।
उन्होंने कहा, ‘मुख्य चीज यह है कि ग्रैंडस्लैम के लिए शीर्ष पर रहो लेकिन यह काफी मुश्किल है और मानसिक रूप से सबसे मुश्किल चीज। लेकिन टेनिस खिलाड़ी इसके आदी होते हैं। मैं इस साल पहले ही 60 मैच खेल चुकी हूं। इसमें से लगभग 50 मैच मार्टिना के साथ खेले हैं जो काफी मैच होते हैं।’