IND vs AUS, 1st Test Match Comments: भारत की टेस्ट टीम में जुलाई 2022 के बाद पहली बार वापसी पर रविंद्र जडेजा ने नागपुर टेस्ट के पहले दिन 22-8-47-5 के गेंदबाजी आंकड़े के साथ वापसी की। पिछली बार जब ऑस्ट्रेलिया ने भारत में टेस्ट सीरीज़ खेली थी तब 34 साल के ऑलराउंडर जडेजा विकेट लेने वाले प्रमुख खिलाड़ी थे। चोटिल होने के बाद अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में अब उनकी वापसी हुई है।
रविंद्र जडेजा ने पहले दिन का खेल खत्म होने के बाद कहा, ‘पांच महीने बाद खेलना, वह भी टेस्ट क्रिकेट खेलना कठिन है। मैं इसके लिए तैयार था और मैं अपनी फिटनेस के साथ-साथ एनसीए (राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी) में अपने कौशल पर कड़ी मेहनत कर रहा था। मैंने लंबे समय के बाद प्रथम श्रेणी का मैच (रणजी) खेला और मैंने लगभग 42 ओवर फेंके। इससे मुझे यहां आने और टेस्ट मैच खेलने का काफी आत्मविश्वास मिला है।’
रविंद्र जडेजा ने अपनी बात जारी रखते हुए कहा कि अपने रिहैब के दौरान जब वह टेस्ट मैच के लिए फिट होने को बेंगलुरु में राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी (एनसीए) में थे तब वह घंटों गेंदबाजी करते थे। रविंद्र जडेजा ने बताया, ‘जब मैं बेंगलुरु में एनसीए (NCA) में था तब मैं अपनी गेंदबाजी पर कड़ी मेहनत कर रहा था। मैं रोजाना 10-12 घंटे गेंदबाजी करता था। इससे मुझे काफी मदद मिली।’
नागपुर की पिच को लेकर भी बोले रविंद्र जडेजा
रविंद्र जडेजा ने कहा, ‘मैं अपनी लय पर काम कर रहा था, क्योंकि मुझे पता था कि मुझे टेस्ट मैच खेलना है और मुझे लंबे स्पेल डालने हैं।’ बाएं हाथ के गेंदबाज ने नागपुर के विदर्भ क्रिकेट एसोसिएशन स्टेडियम के विकेट के बारे में बात की जो पहले भारत-ऑस्ट्रेलिया टेस्ट मैच की शुरुआत से पहले चर्चा का लगातार विषय बना था।
रविंद्र जडेजा ने कहा, ‘विकेट पर कोई उछाल नहीं थी। मैं स्टंप-टू-स्टंप लाइन को निशाना बना रहा था। कोई गेंद घूम रही थी और कोई गेंद सीधी जा रही थी। बाएं हाथ का स्पिनर होने के नाते अगर आप बल्लेबाज को विकेट के पीछे कैच या स्टंप कराते हैं तो आप हमेशा बॉल को श्रेय देते हैं। टेस्ट मैच क्रिकेट में आप जो भी विकेट लेते हैं, आप उससे खुश होते हैं।’
मार्नस लाबुशेन का विकेट लेकर खुश हैं रविंद्र जडेजा
रविंद्र जडेजा ने कहा, ‘मुझे लगता है कि मैं अपनी गेंदबाजी का लुत्फ ले रहा था। मैंने चेन्नई में जो प्रथम श्रेणी मैच खेला उससे मुझे बहुत आत्मविश्वास मिला। मार्नस लाबुशेन का विकेट लेकर खुश हूं। मैं पांच महीने बाद टेस्ट क्रिकेट खेला रहा था तो अपनी चोट के बारे में नहीं सोच रहा था। मैं बस चाहता था कि अच्छा करूं।’