जमाल खशोगी हत्याकांड: आलोचकों को परेशान करने के लिए सऊदी अरब ने बनाई थी साइबर आर्मी, रिपोर्ट में हुआ खुलासा
सऊदी अरब ने सोशल मीडिया पर देश व शासन की आलोलना करने वालों को परेशान करने के लिए साइबर आर्मी बनाई थी। इसके लिए रियाद में एक कथित तौर पर ट्रोल फार्म स्थापित किया गया था।

यूरोपीय संघ की शीर्ष राजनयिक फेड्रिका मोघेरिनी ने सऊदी अरब के आलोचक पत्रकार जमाल खशोगी की ‘‘बेहद परेशान’’ करने वाली हत्या की विस्तृत जांच और इसके पीछे के जिम्मेदार लोगों की जवाबदेही तय करने की मांग की। इससे पहले सऊदी अरब ने यह स्वीकार किया कि इस्तांबुल स्थित उसके वाणिज्य दूतावास के भीतर खशोगी की हत्या कर दी गई। अब इस मामले में एक के बाद एक खुलासे हो रहे हैं। न्यूयॉर्क टाइम्स ने शनिवार को एक रिपोर्ट लिखी है। इस रिपोर्ट के अनुसार, सऊदी अरब ने पत्रकार जमाल खशोगी व अन्य आलोचकों को परेशान करने के लिए ऑनलाइन साइबर आर्मी की स्थापना की थी। ऐसा इसलिए किया गया था कि खगोशी व अन्य प्रभावशाली सऊदी के लोग, जो सोशल मीडिया पर शासन के खिलाफ लिख रहे हैं, उनके उपर ऑनलाइन हमला किया जा सके। उन्हें परेशान किया जा सके। इसके लिए रियाद में एक कथित तौर पर ट्रोल फार्म स्थापित किया गया था। साथ ही एक संदिग्ध जासूस को तैनात किया गया था, जो ट्विटर मौजूद यूजर्स पर नजर रखता था।
इन मसले पर टि्वटर ने किसी तरह की प्रतिक्रिया देने से इंकार किया है। वहीं, वाशिंगटन में स्थित सऊदी दूतावास के प्रतिनिधि ने भी किसी तरह की प्रतिक्रिया नहीं दी है। सऊदी के अधिकारियों ने शनिवार को कहा कि वाशिंगटन पोस्ट कॉलमनिस्ट खशोगी इस्तांबुल वाणिज्य दूतावास में एक लड़ाई के दौरान मारे गए। वहीं, तुर्की के अधिकारियों का कहना है कि खशोगी की हत्या सऊदी सुरक्षाबलों द्वारा की गई थी।
टाइम्स ने रिपोर्ट किया है कि सऊदी कार्यकर्ताओं ने 2010 में अपने आलोचकों को परेशान करने के लिए सोशल मीडिया पर एक अभियान की शुरूआत की थी। इसके रणनीति क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान के सलाहकार सऊद अल-कहटानी ने बनाई थी। सऊदी राज्य मीडिया के मुताबिक, खशोगी के लापता होने पर पूरे विश्व में विवाद शुरू होने के बाद कहटानी (पांच अधिकारियों में से एक) को सऊदी राजा सलमान ने निकाल दिया था।
बता दें कि पत्रकार खशोगी की मौत के बाद पूरी दुनिया में सऊदी अरब की आलोचना शुरू हो गई है। यूरोपीय संघ ने खशोगी के परिवार तथा दोस्तों के प्रति संवेदनाएं व्यक्त की और पत्रकार के काम की प्रशंसा की। जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल ने कहा कि जो भी खशोगी की मौत के लिए जिम्मेदार है उसे सजा देनी चाहिए और उन्होंने रियाद से ‘‘पारर्दिशता’’ बरतने की अपील की। मर्केल और विदेश मंत्री हीको मास ने शनिवार को एक संयुक्त बयान में कहा, ‘‘जो भी जिम्मेदार है उन्हें अपने कृत्यों के लिए जवाब देना होगा।’’ बयान में कहा गया है, ‘‘हम उनकी मौत की परिस्थितियों पर सऊदी अरब से पारर्दिशता बरतने की उम्मीद करते हैं।’’ (एजेंसी इनपुट के साथ)