अमेरिका के राष्ट्रपति रहे डोनाल्ड ट्रंप कभी माइक पेंस को अपना सबसे विश्वस्त साथी मानते थे। पेंस उनके समय में अमेरिका के उपराष्ट्रपति थे, लेकिन सत्ता गई तो दोनों के बीच तल्खी बढ़ने लगी। अब अमेरिका के राष्ट्रपति का चुनाव जैसे जैसे नजदीक आ रहा है दोनों के बीच टकराव और ज्यादा बढ़ता जा रहा है क्योंकि रिपब्लिक पार्टी से दोनों ही राष्ट्रपति पद के लिए अपनी उम्मीदवारी ठोक रहे हैं।
माइक पेंस ने 6 जनवरी, 2021 में हुए दंगे में डोनाल्ड ट्रंप की भूमिका की कड़ी आलोचना की है। उन्होंने शनिवार (11 मार्च, 2023) को कहा कि ट्रंप ने उनके परिवार और संसद भवन में मौजूद हर व्यक्ति की जान खतरे में डाल दी थी। पेंस के इस बयान से अगले साल होने जा रहे राष्ट्रपति चुनाव से पहले दोनों नेताओं के बीच विवाद और गहरा गया है।
राष्ट्रपति चुनाव में उतरना चाहते हैं पेंस और ट्रंप
दोनों नेता राष्ट्रपति चुनाव में रिपब्लिकन पार्टी की ओर से उम्मीदवार के नामांकन की दौड़ में शामिल हैं। वार्षिक ग्रिडिरोन रात्रि भोज के दौरान पेंस ने कहा, “राष्ट्रपति (पूर्व) ट्रंप गलत थे।” इस डिनर में नेता और पत्रकार शामिल होते हैं। उन्होंने कहा, “मुझे चुनाव पलटने का कोई अधिकार नहीं था और उनके (ट्रंप के) बेतुके बयानों ने उस दिन (छह जनवरी को) मेरे परिवार और कैपिटोल (संसद भवन परिसर) को खतरे में डाल दिया था। मैं जानता हूं कि इतिहास डोनाल्ड ट्रंप को इसके लिए जिम्मेदार ठहराएगा।”
कभी थे ट्रंप के वफादार
कभी ट्रंप के वफादार रहे पेंस की यह टिप्पणी उनकी अब तक की सबसे तीखी आलोचना थी। ट्रंप पहले ही अपनी उम्मीदवारी का ऐलान कर चुके हैं, लेकिन पेंस ने ऐसा नहीं किया है। हालांकि, वह राष्ट्रपति चुनाव की दौड़ में शामिल होने के लिए अपने पांव जमा रहे हैं। साल 2021 के राष्ट्रपति चुनाव में रिजल्ट को सर्टिफाई करने का काम पेंस कर रहे थे। ट्रंप ने 6 जनवरी के दिन तक राष्ट्रपति जो बाइडन की जीत को पलटने के लिए पेंस पर दबाव डाला था, लेकिन पेंस ने ऐसा करने से इनकार कर दिया। जब दंगाइयों ने कैपिटोल पर धावा बोला था तब कुछ ने कहा था कि वे माइक पेंस को फांसी पर लटकाना चाहते हैं।
ट्रंप बोले, राष्ट्रपति बने तो दंगे में शामिल लोगों को दे सकते हैं माफी
हमले की जांच करने वाली प्रतिनिधि सभा की समिति ने अपनी अंतिम रिपोर्ट में कहा कि अमेरिका के राष्ट्रपति ने भीड़ को उकसाया था जिसने अपने ही उपराष्ट्रपति को निशाना बनाया था। पेंस ने अपने ग्रिडिरोन डिनर में कहा, “इस बारे में कोई गलती न करें, उस दिन जो हुआ वह अपमानजनक था और अगर इसे किसी और तरीके से चित्रित किया गया तो यह सभ्यता और शालीनता का मजाक होगा।” वहीं, ट्रंप ने कहा कि अगर वे फिर से अमेरिका के राष्ट्रपति चुने जाते हैं, तो वे 6 जनवरी के दंगे में शामिल लोगों को माफ करने पर विचार करेंगे।