बांग्लादेश में बड़ा फैसला, सरकारी नौकरियों में खत्म हुआ आरक्षण
छात्रों के भारी विरोध प्रदर्शनों के चलते ही बांग्लादेश की शेख हसीना सरकार ने बुधवार को ऐतिहासिक फैसला करते हुए नौकरियों में आरक्षण खत्म करने की घोषणा कर दी। अपने बयान में शेख हसीना ने संसद में कहा कि क्योंकि छात्र नहीं चाहते, इसलिए कोटा सिस्टम खत्म किया जा रहा है।

बांग्लादेश में सरकार ने बड़ा कदम उठाते हुए नौकरियों में आरक्षण खत्म करने का फैसला किया है। बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने बुधवार को इसकी घोषणा की। बता दें कि बांग्लादेश में बड़ी संख्या में छात्र, इस आरक्षण के खिलाफ देशभर में विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। ढाका में छात्रों की भीड़ ने बुधवार को कई प्रमुख सड़कों को जाम कर दिया था, जिससे बांग्लादेश की राजधानी जाम से बुरी तरह से जुझ रही थी। हाल ही में ढाका यूनिवर्सिटी में सुरक्षा बलों और छात्रों के बीच झड़प भी हुई।इसदौरान सुरक्षाबलों ने आंसू गैस के गोले और रबड़ बुलेट से प्रदर्शनकारी छात्रों को तितर-बितर करने की कोशिश की थी, जिसमें करीब 100 छात्रों के घायल होने की खबर है।
छात्रों के भारी विरोध प्रदर्शनों के चलते ही बांग्लादेश की शेख हसीना सरकार ने बुधवार को ऐतिहासिक फैसला करते हुए नौकरियों में आरक्षण खत्म करने की घोषणा कर दी। अपने बयान में शेख हसीना ने संसद में कहा कि क्योंकि छात्र नहीं चाहते, इसलिए कोटा सिस्टम खत्म किया जा रहा है। शेख हसीना ने कहा कि छात्र अब काफी विरोध प्रदर्शन कर चुके हैं और उन्हें अब घर वापस जाने दिया जाए। उल्लेखनीय है कि पिछले काफी दिनों से चल रहे बवाल के कारण बांग्लादेश में शिक्षण संस्थाएं बुरी तरह प्रभावित रहीं। जहां कॉलेजों में कक्षाएं नहीं चल सकी, वहीं कई यूनिवर्सिटीज में परीक्षाएं भी स्थगित करनी पड़ी। हालांकि शेख हसीना ने अपने भाषण में यह भी कहा कि उनकी सरकार दिव्यांग और पिछड़े वर्ग के लोगों के लिए नौकरियों में कुछ खास प्रावधान कर सकती है। बता दें कि छात्र सरकारी नौकरियों में पिछड़े वर्ग, स्वतंत्रता सेनानियों के वंशजों को, और महिलाओं को दिए जाने वाले आरक्षण का विरोध कर रहे थे। बीते रविवार से पूरे देश में इसके खिलाफ विरोध प्रदर्शन शुरु हुए थे।
उल्लेखनीय है कि प्रदर्शन के दौरान कुछ छात्रों ने ढाका यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर के घर में तोड़-फोड़ कर दी थी। अपने बयान में शेख हसीना ने कहा कि जिन लोगों ने वाइस चांसलर के घर में तोड़-फोड़ की वह छात्र कहलाने लायक नहीं है और उनके खिलाफ कड़ी कारवाई की जाएगी। बांग्लादेश में विरोध प्रदर्शनों की स्थिति यह थी कि कई सरकारी वेबसाइटों को प्रदर्शनकारी छात्रों ने हैक कर दिया और उनके होमपेज पर आरक्षण खत्म करने संबंधी बैनर लगा दिए थे।
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