अक्सर ऐसा होता है कि सोते हुए बच्चा बिस्तर गीला कर देता है। बचपन में तो ज्यादातर बच्चे बिस्तर पर पेशाब कर लेते हैं। हालांकि कुछ सालों में यह परेशानी खुद-ब-खुद ठीक भी हो जाती है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ बताते हैं कि 6 साल से कम उम्र के बच्चों में बिस्तर गीला करना स्वाभाविक होता है। हालांकि 5 साल तक की उम्र के बच्चों में यह समस्या 15 – 20 प्रतिशत तक हो जाती है। उम्र के साथ बिस्तर गीला करने के प्रतिशत में कमी आ जाती है, जैसे 10 साल तक 5 प्रतिशत, 15 साल पर 2 प्रतिशत और युवावस्था में यह समस्या केवल एक प्रतिशत तक रह जाती है।
बच्चे क्यों करते हैं बिस्तर गीला: अगर आपका बच्चा बिस्तर गीला कर रहा है तो इसके कई कारण हो सकते हैं। जिन बच्चों के माता-पिता को यह समस्या रही है, उनके बच्चों को तकलीफ हो सकती है। जिन बच्चों का मानसिक विकास देरी से होता है, उनमें भी यह परेशानी देखने को मिल सकती है। जो बच्चे गहरी नींद में सोते हैं, उन्हें भी बिस्तर गीला करने की परेशानी हो सकती है। एक रिसर्च के मुताबिक लड़कियों की तुलना में लड़कों में यह समस्या तीन गुना ज्यादा देखी जा सकती है।
इसके अलावा नेफ्रोटिक सिन्ड्रोम और वीयूआरए यूटीआई जैसे किडनी संबंधी रोग की वजह से भी बच्चों में यह समस्या हो सकती है।
BHU के न्यूरोलॉजी विभाग के प्रो. विजय नाथ मिश्र बताते हैं कि अगर बच्चा बिस्तर पर पेशाब करता है तो क्या करना चाहिए? उनके मुताबिक सोने से 1 घंटे पहले बच्चे को खाना, पानी और दूध पिला देना चाहिए। सोने के 15 मिनट पहले बच्चों को पेशाब करा देना चाहिए। जब बच्चा सो जाए तो 45 मिनट बाद उसे उठाकर पेशाब करवा देना चाहिए।
साथ ही याद रखें कि जिस कमरे में बच्चे सोए, वहां पर शांति हो। प्रोफेसर के मुताबिक 14 साल की उम्र तक यह समस्या ठीक हो जाती है। अगर उम्र बढ़ने के साथ भी बच्चा लगातार रात में बिस्तर गीला कर रहा है तो आपको तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।