‘लॉकडाउन में एक महात्मा तैयार हो गया’, सोनू सूद पर शिवसेना नेता ने साधा निशाना तो बोले फिल्ममेकर- अब कहां है इंटॉलरेंट ब्रिगेड
शिव सेना के मुखपत्र सामना में पार्टी नेता संजय राउत ने लिखा कि महाराष्ट्र में सोशल वर्क की लंबी परंपरा रही है लेकिन बीजेपी सोनू सूद का इस्तेमाल सरकार पर हमला करने के लिए कर रही है।

कोरोना संकट के बीच महाराष्ट्र में फंसे प्रवासी मजदूरों की बॉलीवुड एक्टर सोनू सूद काफी मदद कर रहे हैं। उनको अपने खर्चे पर घर भेजने से लेकर खाने-पीने तक का इंतजाम कर रहे हैं। लेकिन इसी बीच शिवसेना ने सोनू सूद के इस कार्य को राजनीति से प्रेरित बताते हुए एक्टर को बीजेपी का प्यादा कह दिया है। शिवसेना के सोनू सूद पर किए इस हमले को लेकर फिल्ममेकर अशोक पंडित ने ट्विटर पर अपनी प्रतिक्रिया दी है। जिसमें उन्होंने फिल्म इंडस्ट्री से जुड़े लोगों और पत्रकारों की चुप्पी पर सवाल उठाया है।
अशोक पंडित ने लिखा, ‘तथाकथित अभिव्यक्ति की आजादी के रक्षक और फिल्म उद्योग के इंटॉलरेंट ब्रिगेड, किटी पार्टी के पत्रकार संजय राउत द्वारा सोनू सूद का मजाक उड़ाने पर चुप क्यों हैं।’ अशोक पंडित ने तंज कसते हुए आगे कहा, ‘मुझे उनसे कोई उम्मीद नहीं है फिर भी मैं बस पूछ रहा हूं।’
अशोक पंडित के इस ट्वीट का एक यूजर ने जवाब देते हुए लिखा कि मुझे लगता है कि बॉलीवुड में लोग किसी भी अन्य क्षेत्र की तुलना में अधिक बंटे हुए हैं।
Why are d so called protectors of free speech & intolerant brigade in the film industry & the kitty party journalists silent on @rautsanjay61 mocking @SonuSood for doing great work to help the needy? #justasking
Not that I expected anything from them. #SonuSood— Ashoke Pandit (@ashokepandit) June 7, 2020
वहीं शिवसेना के इस हरकत पर एक यूजर ने लिखा, बहुत अफसोस हुआ। देश के महान बालासाहेब ठाकरे जी के लोगों को आपात समय मे सेवा करना सहन नही हुआ। राउत जी आपका बहुत मान-सम्मान है। आपसे ऐसी असहनशीलता की उमीद नही थी। अगर सोनू सूद को इस कारण BJP का एजेंट कहोगे तो आपको विश्वासघात और आपात समय मे सत्ता व्यवस्था में फेल होने पर किसका एजेंट कहें।
क्या कहा शिव सेना ने?: शिव सेना के मुखपत्र सामना में पार्टी नेता संजय राउत ने लिखा कि महाराष्ट्र में सोशल वर्क की लंबी परंपरा रही है लेकिन बीजेपी सोनू सूद का इस्तेमाल सरकार पर हमला करने के लिए कर रही है। संजय राउत ने सामना के कॉलम में लिखा, “महाराष्ट्र में सोशल वर्क की लंबी परंपरा रही है, इसमें महान सामाजिक कार्यकर्ता महात्मा ज्योतिबा फुले और बाबा आम्टे शामिल रहे हैं, और अब इस लिस्ट में एक और व्यक्ति शामिल हो गए हैं, वह हैं सोनू सूद। राउत ने आगे लिखा कि लॉकडाउन के दौरान अचानक सोनू सूद नाम से नया महात्मा तैयार हो गया। प्रवासी मजदूरों को घर भेजने के लिए उनके नाम की चर्चा हो रही है।
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