सरकार किसान आंदोलन को शाहीन बाग समझने की भूल न करे- राकेश टिकैत ने दी चेतावनी, बोले- गोदाम तोड़े जाएंगे…
राकेश टिकैत ने ट्विटर पर पोस्ट कर लिखा- सरकार इस भूल में न रहे कि अगर कर्फ्यू लगा दिया गया तो किसान आंदोलन पर इससे कोई फर्क पड़ने वाला है।

Rakesh Tikait: भारतीय किसान यूनियन (BKU) के नेता राकेश टिकैत ने शाहीन बाग का जिक्र करते हुए केंद्र सरकार को चेतावनी दी है। उन्होंने एक के बाद एक, सिलसिलेवार ट्वीट किये और कहा कि कर्फ्यू भी लग जाए तो भी आंदोलन चलता रहेगा। टिकैत ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से लिखा, ‘सरकार किसान आंदोलन को शाहीनबाग समझने की भूल न करे। कोरोना के कारण यदि पूरे देश में भी कर्फ्यू लग जाएगा तो भी देश का किसान, आंदोलन से पीछे नहीं हटेगा।’
टिकैत ने अपने अगले ट्वीट में लिखा, ‘सरकार इस भूल में न रहे कि अगर कर्फ्यू लगा दिया गया तो किसान आंदोलन पर इससे कोई फर्क पड़ने वाला है। किसान एक कदम भी पीछे नहीं हटने वाले हैं।’ राकेश टिकैत ने अपने अगले ट्वीट में कहा- ‘सरकार के मंसूबे ठीक नहीं हैं। देश में सरकार के नाम पर लूट करने वाले लुटेरों को भगाना होगा।’
उन्होंने बीते दिनों गुजरात के क्रिकेट स्टेडियम का नाम बदलने का जिक्र करते हुए कहा- गुजरात में सरदार वल्लभ भाई पटेल स्टेडियम को मोदी स्टेडियम का नाम दे दिया गया। अगर आतंक और भय देखना है तो गुजरात जाकर देखो..।’ टिकैट ने एक और ट्वीट में लिखा, ‘सरकार सेल फॉर इंडिया की तरफ जा रही है।’
सरकार किसान आंदोलन को शाहीनबाग समझने की भूल न करें। कोरोना के कारण यदि पूरे देश में भी कर्फ्यू लग जाएगा तो भी देश का किसान आंदोलन से पीछे नहीं हटेगा।#लड़ेंगे_जीतेंगे
— Rakesh Tikait (@RakeshTikaitBKU) April 7, 2021
राकेश टिकैत ने मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए आगे कहा कि- ‘अगर देश में किसी पार्टी की सरकार होती तो लचीलापन आ जाता, ये तो उद्योगपतियों की सरकार है। बड़े-बड़े गोदाम तोड़े जाएंगे तब जाकर लचीलापन टूटेगा। किसान नेता टिकैत ने कहा कि जब तक किसानों की मांग पूरी नहीं होती तब तक यह आंदोलन चलता रहेगा।
राकेश टिकैत की पोस्ट पर लोगों ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी। रजत नाम के यूजर ने तंज कसते हुए लिखा- किसानों की मांग को सरकार ने कृषि बिल लाकर पूरा कर दिया है। जिसका फायदा जल्द ही उन्हें मिलने लगेगा। रही बात तुम्हारी मांग की, तो अब तुम्हें मंत्री तो बना नहीं सकते। जिसके लिए तुम 3 बार चुनाव हार चुके हो।’ सीमा तिवारी नाम की महिला यूजर ने लिखा- ‘जब दीपक बुझने वाला होता है, तब ज्यादा फड़फड़ा है।’
दिनेश चावला नाम के शख्स न लिखा- ‘किसानों के नाम पर यह अराजकता फैलाना बंद करो। सरकार खामोश है इसका मतलब यह नहीं कि सरकार लाचार है। जानबूझकर उकसाने का प्रयास मत करो।’