मुंबई में कई महिलाएं हुई जो सीधे तौर अपराध की दुनिया से जुड़ी रही। वहीं अशरफ खान जैसी एक महिला गैंगस्टर ऐसी रही जिसने पति की मौत का बदला लेने के लिए इस रास्ते को चुना। साथ ही सबसे बड़ी बात यह थी कि उसने अंडरवर्ल्ड डॉन दाउद इब्राहिम को मारने की कसम खाई थी।
दाउद इब्राहिम की जानी दुश्मन मानी जाने वाली अशरफ खान को ‘सपना दीदी’ के नाम से भी जाना जाता है। मुंबई के सामान्य परिवार में जन्मी अशरफ खान की शादी दाउद इब्राहिम के लिए काम करने वाले महमूद कालिया से हुई थी। हालांकि शादी के कई सालों तक अशरफ ने यह जानने की कोशिश नहीं की कि उसका पति इतने पैसे लाता कहां से हैं? शायद वह शादी और आरामतलब जिंदगी में इतना रम चुकी थी कि उसे इस सवाल का जवाब ढूंढने की जरूरत ही नहीं पड़ी।
अशरफ का समय शादी के पांच साल बाद उस वक्त पलट गया जब दुबई से वापस आते वक्त मुंबई के सांता क्रूज एयरपोर्ट के बाहर महमूद कालिया को पुलिस एनकाउंटर में एनकाउंटर स्पेशलिस्ट एमैनुअल अमोलिक ने ढेर कर दिया। यही वह समय था जब अशरफ को अपने उस सवाल का जवाब मिला। महमूद कालिया को जानने वाले एक शख्स उस्मान ने अशरफ को बताया कि उसकी मौत के पीछे दाउद इब्राहिम का हाथ है।
पति की मौत के बाद अशरफ के जीवन का एक ही उद्देश्य रह गया और वो था दाउद की हत्या करना। उस्मान ने अशरफ को हुसैन उस्तारा नाम के गैंगस्टर से मिलवाया। इसके बाद अशरफ ने हुसैन से हथियार चलाने व आत्मरक्षा की ट्रेनिंग ली। हुसैन की राय पर अशरफ, दाउद के बड़े जानी दुश्मन रहे अरुण गवली से मुलाकात की और मदद मांगी; लेकिन अरुण गवली ने कई संदेहों के चलते अशरफ की मदद करने से इंकार कर दिया।
ऐसे में हुसैन ने अशरफ से कहा कि वह अपना नाम बदल ले ताकि कोई उसे शक की नजरों से न देखे। अशरफ का सपना ही दाउद को मारने का था, इसलिए उसने अपना नाम सपना रखा और महमूद के साथियों के द्वारा दीदी कहे जाने पर अशरफ ने अपना नाम ‘सपना दीदी’ रख लिया।
सपना दीदी को हुसैन उस्तारा और उस्मान ने सलाह दी कि वह दाउद को मारने से पहले उनके गुर्गों को खत्म करवाए और उसके धंधे पर चोट करे। ऐसे में सपना ने पुलिस की मुखबिरी शुरू की और कई सारे दाउद के गुर्गों का पकड़वाया। इसके अलावा उसने तीन हफ़्तों के भीतर ही दाउद के जुएं और तस्करी के धंधे को भी कमजोर कर दिया। इसके बाद उसे पता चला कि आने वाले कुछ दिनों में दाउद शारजाह में मैच देखने आ रहा है। ऐसे में सपना दीदी ने उसे वहीं मारने की योजना बनाई।
हालांकि, सपना दीदी के इस प्लान की भनक किसी न किसी माध्यम से दाउद इब्राहिम को लग गई। माना जाता है कि दाउद के ही कुछ गुर्गों ने घर में घुसकर अशरफ खान उर्फ सपना दीदी की बेरहमी से हत्या कर दी थी।