आज कहानी ब्लू डायमंड कांड की जिसके चलते थाईलैंड और सऊदी अरब जैसे देश 30 सालों तक दुश्मन बने रहे। इस देशों के रिश्तों में खटाई पड़ने के पीछे का कारण 1989 में सऊदी शहजादे के महल में चोरी और फिर चोरी का पता लगाने के दौरान हुई कुछ रहस्यमयी हत्याएं थीं। इस चोरी को एक थाई नौकर द्वारा अंजाम दिया गया था। हालांकि, इस साल 26 जनवरी 2022 को थाईलैंड के पीएम और सऊदी क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने फिर से राजनयिक संबंध स्थापित करने का फैसला किया है।
क्या था ब्लू डायमंड कांड: साल 1989 में सऊदी प्रिंस फैसल बिन फहद के महल से करीब 91 किलो वजनी गहने और हीरे-जवाहरात चोरी हो गए थे। इस चोरी को एक क्रिआंग क्राई नाम के थाई नौकर ने अंजाम दिया था। नौकर ने चुराए गए गहनों को वैक्यूम क्लीनर में छिपा दिया था। हालांकि, बवाल सबसे ज्यादा बात पर मचा था कि चोरी में एक 50 कैरेट के हीरा भी शामिल था, जिसे ब्लू डायमंड के नाम से जाना जाता था।
गहनों को कैसे भेजा थाईलैंड: चोरी के बाद थाई नौकर ने अपने घर यानी थाईलैंड के लैम्पांग प्रांत को भेजे गए अपने कुरियर पैकेट में कुछ पैसे रखे और एक नोट लिखा कि- “इसमें कुछ अश्लील सामग्री है, ऐसे में मैं चाहता हूं कि इसकी तलाशी न ली जाई। उसकी यह जुगत काम कर गई और थाई अधिकारियों ने रिश्वत के पासे लेकर कुरियर चेक नहीं किया। फिर कुछ दिन बाद वह खुद भी थाईलैंड आ गया। इसके बाद, उसने इन गहनों को कम दामों में बेचना शुरू ही किया था कि सऊदी प्रशासन के अनुरोध पर चोरी के मामले में रॉयल थाई पुलिस ने जांच शुरू की। जांच से पहले थाई नौकर भी शक में घेरे में था। हालांकि, कुछ दिनों बाद गहने बरामद कर लिए गए और थाई नौकर क्रिआंग क्राई को पांच साल की सजा सुनाई गई।
नकली गहने और रहस्यमयी हत्याओं का दौर: गहनों की बरामदगी के बाद रॉयल थाई पुलिस गहने वापस करने सऊदी अरब पहुंची। जांच के दौरान सऊदी अधिकारियों ने पाया कि लौटाए गए आधे से ज्यादा गहने नकली थे और ब्लू डायमंड भी गायब था। इसी बीच सऊदी रॉयल परिवार के करीबी मोहम्मद अल रुवैली मामले की जांच करने थाईलैंड की राजधानी बैंकाक पहुंचे। लेकिन यहां रहस्यमयी हालात में उनकी मौत हो गई। इसके बाद, थाईलैंड में तीन और सऊदी डिप्लोमैट की हत्या हो गई। इन हत्याओं के बाद दोनों देशों के बीच संबंध खराब होते चले गए और फिर लगभग खत्म ही हो गए।
क्या हुआ चोर का?: क्रिआंगक्राई को चोरी के मामले में पांच साल के लिए सलाखों के पीछे डाल दिया गया। उस पर गिरफ्तारी से पहले गहने बेचने का भी आरोप था। हालांकि, क्रिआंगक्राई को जेल में अच्छे व्यवहार के चलते तीन साल बाद ही रिहा कर दिया। इसके बाद वह साल 2016 में बौद्ध भिक्षु बन गया था। चोरी हुआ ब्लू डायमंड तो आज तक नहीं मिला लेकिन क्रिआंगक्राई का मानना था कि हीरा शापित है और इसी कारण प्रिंस के परिवार पर कई विपत्तियां भी आईं थीं।