बॉलीवुड के बादशाह शाहरुख खान और गौरी की लव स्टोरी बॉलीवुड के मोस्ट अडॉरेबल कपल की इंट्रेस्टिंग लव स्टोरीज में से एक है। शाहरुख आज बॉलीवुड के किंग कहे जाते हैं, लेकिन एक वक्त ऐसा था जब शाहरुख खान नाम को कोई नहीं जानता था। उस वक्त शाहरुख दिल्ली में रहते थे। वहीं वह एक लड़की से प्यार कर बैठे, वह नाम था गौरी। फिल्म दिल वाले दुल्हनिया ले जाएंगे के राज की तरह उन्होंने अपनी रियल लाइफ में भी गौरी के परिवार को मनाने के लिए खूब पापड़ बेले। शाहरुख-गौरी के दरमियान अमीरी-गरीबी के अलावा धर्मों का फासला भी था। शाहरुख मुस्लिम थे तो वहीं गौरी एक अमीर पंजाबी ब्राह्मण थीं।
शुरुआत में शाहरुख गौरी से बात करने में भी घबराते थे। शाहरुख गौरी को छुप-छुप कर निहारा करते थे। जहां भी गौरी के पहुंचने की उम्मीद होती थी वह गौरी से पहले ही वहां पहुंच जाया करते थे। 24 अक्तूबर 1984 को शाहरुख और गौरी की तीसरी मुलाकात ने शाहरुख की किस्मत बदल दी। इस दौरान शाहरुख ने गौरी के घर का नंबर हासिल कर लिया था। उस वक्त शाहरुख का एक गाना फेवरेट हुआ करता था जिसे वो अक्सर गौरी को देख कर गाया करते थे ‘गोरी तेरा गांव बड़ा प्यारा’।
15 साल की उम्र में ही शाहरुख के पिता का हाथ उनके सिर से उठ गया था। कैंसर की वजह से पिता मीरताज मोहम्मद को खोने के बाद शाहरुख, मां लतीफ फातिमा और बहन तीनों दिल्ली के गौतम नगर आ कर बस गए। वहीं गौरी एक आर्मी रिटायर्ड ऑफिसर की बेटी थीं। गौरी साउथ दिल्ली के पॉश इलाके पंचशील पार्क में एक बड़े से परिवार में रहती थीं। इस दौरान शाहरुख और गौरी की मुलाकात हुई, मुलाकात कब प्यार में बदली उन्हें पता ही नहीं चला। अब जब कभी भी शाहरुख को गौरी से बात करनी होती थी, वह अपनी दोस्त से उनके घर पर फोन करवाते थे। फोन पर ‘शाहीन’ नाम लिया जाता था। यह नाम एक कोड होता था। इस दौरान दोनों घंटों बात किया करते।
समय आगे चलता रहा और करते करते 5 साल बीत गए। इस दौरान शाहरुख की किस्मत ने करवट लेना शुरू किया। इस दौरान शाहरुख को दो टीवी सीरियल में काम करने का मौका मिला। तो वहीं गौरी ने दिल्ली यूनिवर्सिटी के लेडी श्री राम कॉलेज से ग्रैजुएशन करने के बाद फैशन डियाइनिंग का कोर्स किया। इस बीच गौरी-शाहरुख का मिलना कम हो गया। शाहरुख अब शूटिंग में बिजी हो चले थे। वहीं गौरी उनके एक्टर बनने के फैसले से खुश नहीं थीं। दूसरी तरफ गौरी की चिंता ये भी थी कि वह अपने परिवार में गैर धर्म के ब्वॉयफ्रेड होने की बात कैसे कहे। शाहरुख इस दौरान गौरी के लिए काफी पोजेसिव भी हो गए थे। वह गौरी को खुले बाल करने या स्वीमिंग सूट पहनने पर टोक दिया करते थे क्योंकि अब दोनों का मिलना कम हो गया था और वह अपने रिश्ते के बारे में भी ज्यादा बात नहीं कर पाते थे।
गौरी के 19 वें जन्मदिन पर शाहरुख ने अपने कमरे को बहुत खूबसूरत तरीके से सजा कर उन्हें सरप्राइज दिया। यह देख गौरी काफी इमोशनल हो गईं और रोने लगीं। शाहरुख समझ नहीं पाए कि आखिर वह रो क्यों रही है। अगले दिन गौरी बिना कुछ कहे शहर से बाहर चली गई। इस दौरान शाहरुख ने उन्हें खूब ढूंढा। गौरी के घर पर शाहरुख ने लड़की की आवाज में बात कर के जब पता किया तो उन्हें पता चला कि वह मुंबई में हैं। तभी शाहरुख तुरंत मुंबई पहुंचे। शाहरुख के पास गौरी का पता नहीं था लेकिन शाहरुख ने हार नहीं मानी। इस बीच शाहरुख हताश हो चुके थे। इसी दौरान शाहरुख ने इस बीच एक जगह रुक कर कहा था कि एक दिन वह इस शहर पर राज करेंगे।
शाहरुख जानते थे कि गौरी को समंदर का किनारा बहुत पसंद है। वह अक्सर वहीं जाकर बैठा करते थे। तभी एक दिन उन्हें गौरी वहां मिली। गौरी शाहरुख को देखते ही उनके गले लग गई और रोने लगीं। लेकिन इसके बाद दोनों का मिलना कम हो गया। शाहरुख अब अपनी शूटिंग और अपने काम में बिजी रहने लगे। दोनों के दिल्ली वापस आने के बाद एक दिन शाहरुख ने गौरी को अपने मुंबई जाने के फैसले के बार में बताया तो गौरी बहुत नाराज हो गई। लेकिन कहीं न कहीं उन्होंने अपने प्यार को सपोर्ट किया और आज शाहरुख बॉलीवुड के किंग खान के नाम से जाने जाते हैं। 26 अगस्त 1991 को शाहरुख और गौरी का निकाह पढ़वाया गया। इस दौरान गौरी का नाम आइशा रखा गया। 25 अक्तूबर 1991 में हिंदू रिवाजों के साथ शाहरुख और गौरी की शादी कराई गई। इस दौरान शाहरुख हाथी पर अपनी दुल्हनिया गौरी को लेने आए थे।

